इस लेख में आपको सस्ती, सरल और बेहतरीन खाद की जानकारी देने जा रहे हैं जो की जैविक खाद है, जिससे किसानों को कई तरह के फायदे कुछ ही समय में होंगे-
जैविक खाद के फायदे
रासायनिक खाद के नुकसान और जैविक खाद के फायदे तो अधिकतर किसानों को अब पता हो चुके हैं। लेकिन जैविक खाद बनाना किसानों को मुश्किल लगता है, जैसे कि जीवामृत। जीवामृत को बनाना उसे छानना, इस्तेमाल करना किसानों को मुश्किल भरा काम लग रहा है। लेकिन यहां पर एक सरल खाद की जानकारी देने जा रहे हैं जो कि आसानी से तैयार होगी और लागत भी कम आएगी। इस्तेमाल करना भी बहुत आसान है।
रासायनिक खाद डालने से खेत की मिट्टी बंजर हो रही है, सेहत पर बुरा असर पड़ रहा है, बीमारियां फैल रही है, पर्यावरण प्रदूषण हो रहा है। वही जैविक खाद इस्तेमाल करने से मिट्टी उपजाऊ होगी, अनाज सेहत के लिए फायदेमंद होगा, पर्यावरण प्रदूषण भी नहीं होगा। तो चलिए आपको बताते हैं यह खाद कौन-सी है इसका इस्तेमाल कैसे करना है, बनाना कैसे है।
गौ कृपा अमृतम
जैविक खाद कई तरह की होती है, उनके बनाने का और इस्तेमाल करने का तरीका भी अलग होता है। जिसमें आज बात कर रहे हैं गौ कृपा अमृतम, की जो की एक किसानों का मित्र बैक्टीरिया है। इससे बंजर मिट्टी उपजाऊ हो जाएगी, जो की रासायनिक खाद से खराब हो चुकी है। कृषि विशेषज्ञ कहते हैं कि इसमें 72 प्रकार के बैक्टीरिया होते हैं, जो की खेती के लिए बहुत ही ज्यादा फायदेमंद होते हैं, पैदावार बढ़ाने में मदद करते हैं, और अनाज के गुणवत्ता में भी सुधार करते हैं। जिससे उसकी अच्छी कीमत मिलेगी।
किसानों को जानना होगा कि यह खाद काम कैसे करती है तो बता दे कि इसमें जो बैक्टीरिया है वह मिट्टी में नाइट्रोजन, फास्फोरस और पोटाश जैसे आवश्यक पोषक तत्व को सक्रिय करने का काम करते हैं। इसीलिए किसानों को फायदा होता है तो चलिए जाने से बनाने में इस्तेमाल करने का तरीका।

गौ कृपा अमृतम कैसे बनती है
गौर कृपा अमृतम एक तरल खाद है, इसे बनाने के लिए किसानों को सबसे पहले गौ कृपा अमृतम मदर कल्चर लेना होगा और उसमें डेढ़ लीटर छांछ, डेढ़ किलो गुड़ और 200 लीटर पानी मिलाना है। जब इस खाद को बनाना शुरू करते हैं तो सिर्फ एक बार आपको गौ कृपा अमृतम मदर कल्चर लेना है, मात्रा की बात कर तो 1 लीटर इसको लेना है, और फिर एक ड्रम में इन सब चीजों को अच्छे से मिलाकर करीब सप्ताह भर के लिए छांव वाली जगह पर रखना है। धूप में नहीं रखता है। फिर इसको आप पानी के साथ खेत में डाल सकते हैं। करीब ₹60 के खर्चे में यह तैयार हो जाती है। यानि की लागत कम है।
इसे बनाने के बाद इस्तेमाल की मात्रा का भी ध्यान रखे रभी अच्छा रिजल्ट मिलेगा। मात्रा की बात करें तो एक एकड़ में खेती करना चाहते हैं तो 1000 लीटर पहले इसको डालिए। उसके बाद दोबारा जब आप पानी देते हैं तो 200 लीटर डालिए शुरू में ज्यादा इसलिए डालना पड़ता है क्योंकि अभी तक किसान रासायनिक खाद इस्तेमाल कर रहे हैं तो खेत की मिट्टी बहुत ज्यादा बंजर हो चुकी है। इसलिए शुरू में ज्यादा मात्रा देनी होगी। यह खाद बनाना आसान है और इस्तेमाल भी करना आसान है। आपको बता दे की जैविक खाद की डिमांड समय के साथ बढ़ रही है, सरकार भी किसानों को जैविक खाद से खेती करने के लिए अनुदान दे रही है।