राज्य सरकार की तरफ से किसानों को प्राकृतिक खेती करने के लिए ₹4000 और कृषि सखियों को ₹5000 दिए जा रहे हैं चलिए आपको बताते हैं सरकार का प्लान क्या है-
प्राकृतिक खेती के लिए अनुदान
प्राकृतिक खेती का इस समय डंका बज रहा है। हर तरफ प्राकृतिक खेती की चर्चा हो रही है। क्योंकि रासायनिक उर्वरक, कीटनाशक का इस्तेमाल करने से पर्यावरण प्रदूषण होता है। मिट्टी खराब होती है और स्वास्थ्य के लिए हानिकारक अनाज का उत्पादन होता है। इसीलिए सरकार प्राकृतिक खेती को प्रोत्साहित कर रही है। जिसमें उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को आर्थिक मदद करने की ठान ली है।
जिसमें किसानों को कृषि सखी की मदद भी मिलेगी और इन कृषि सखियों को भी वेतन दिए जाएंगे, तो चलिए आपको बताते हैं प्राकृतिक खेती के लिए सरकार से कैसे किसानों को आर्थिक मदद दी जाएगी।
किसानों को ₹4000 अनुदान
प्राकृतिक खेती के लिए उत्तर प्रदेश में 1886 क्लस्टर बनाए जा रहे हैं और इन क्लस्टर में नदियों के किनारे जो गांव है वह आते हैं। जहां करीब 2.5 लाख किसानों को प्राकृतिक खेती के लिए अनुदान दिया जाएगा। यहां पर किसानों को हर साल ₹4000 की आर्थिक मदद मिलेगी। हर एक क्लस्टर में करीब 50 हेक्टेयर की जमीन आएगी। जिससे लगभग 125 किसान एक क्लस्टर में आ जाएंगे। इस तरह अधिकतर किसानों को फायदा होगा और हर एक क्लस्टर में दो कृषि सखी नियुक्त होगी तो चलिए आपको बताते हैं इन कृषि सखियों की नियुक्ति के बारे में।

कृषि सखी को ₹5000
जैसा कि हमने जाना किसानों को प्राकृतिक खेती की जानकारी देने वाली कृषि सखी नियुक्त की जाएंगे और इन कृषि सखियों को हर महीने सरकार ₹5000 देगी। यह कृषि सखी स्वयं सहायता समूह से जुड़कर काम करेंगी। इन कृषि सखियों का चयन जिला स्तर पर गठित निगरानी समिति द्वारा होगा। हर क्लस्टर में दो कृषि सखी नियुक्त होगी, जो कि किसानों की प्राकृतिक खेती में सहायता करेंगी। इन कृषि सखियों का काम होगा किसानों का प्रशिक्षण देना, ताकि किसान बढ़िया तरीके से प्राकृतिक खेती कर पाए। खेती में जिन्हे रूचि हो उनके लिए बढ़िया अवसर है।