बेकार टमाटर से बन रहे जूते, किसानों को हो रहा फायदा, जानिए टमाटर से कैसे बन रहा बायो लेदर

On: Sunday, September 14, 2025 3:52 PM
टमाटर से बन रहे हैं जूते

अब किसानों को टमाटर फेंकने की जरूरत नहीं पड़ेगी। उन्हें इसके बदले अच्छी कीमत भी मिल सकती है, क्योंकि टमाटर से जूते बनाने की तकनीक सामने आई है।

टमाटर से बन रहे हैं जूते

टमाटर की खेती से किसानों को आमतौर पर फायदा होता है, लेकिन कभी-कभी जब बाजार में कीमत बहुत ज्यादा गिर जाती है, तो लागत निकालना भी मुश्किल हो जाता है। ऐसे में किसानों को अपने टमाटर सड़कों पर फेंकने तक की नौबत आ जाती है।

इस समस्या का समाधान निकालते हुए टमाटर से लेदर बनाने की प्रक्रिया शुरू की गई है। आपको बता दें कि मुंबई के एक बिज़नेसमैन प्रीतेश मिश्री टमाटर के वेस्ट से लेदर बनाने का काम कर रहे हैं। उनकी कंपनी TBC एक महीने में लगभग 5000 मीटर बायोलेदर बना रही है, जिससे कई तरह के उत्पाद तैयार किए जा रहे हैं।

प्रदूषण की समस्या हुई हल

असल में, जब प्रीतेश पढ़ाई कर रहे थे, तब उन्होंने अपने फाइनल ईयर प्रोजेक्ट के तौर पर इस विषय पर काम शुरू किया था। वह बायोटेक्नोलॉजी की पढ़ाई कर रहे थे। उसी दौरान उन्होंने कानपुर में प्रदूषण देखा, जिसमें खेतों के आसपास खाद्य अपशिष्ट की समस्या को देखा। यहीं से उन्हें यह विचार आया कि क्यों न इस वेस्ट का उपयोग किया जाए, इससे किसानों की भी मदद होगी।

अब, उनकी कंपनी सूरत में स्थित एक संयंत्र में किसानों और प्रोसेसिंग यूनिट्स से टमाटर के वेस्ट ले रही है। इसके बाद एक विशेष प्रक्रिया द्वारा नॉन-टॉक्सिक तकनीक से लेदर की बनावट दी जाती है। अंत में, पौधों पर आधारित कोटिंग लगाई जाती है, जिससे यह लेदर वॉटर रेसिस्टेंट, मजबूत और लंबे समय तक चलने वाला बनता है। यही कारण है कि इसकी मांग लगातार बढ़ रही है।

हर साल लगभग 35% तक टमाटर बर्बाद हो जाते हैं। अब उनके छिलके और बीज से एक तरह की परत बनाई जा रही है, और यह नेचुरल फाइबर को मजबूती भी देती है। इस तरह से टमाटर के किसानों को फायदा होगा। अगर ऐसी और कंपनियां सामने आती हैं, तो किसानों को अपने उत्पाद फेंकने की जरूरत नहीं पड़ेगी और उन्हें उनकी सही कीमत भी मिल सकेगी।

बायोलेदर से क्या-क्या बनाया जा रहा है?

बायोलेदर से सिर्फ जूते ही नहीं, बल्कि बैग, जैकेट और ऑटोमोबाइल इंटीरियर जैसी चीजें भी बनाई जा रही हैं। भारत ही नहीं, बल्कि दूसरे देशों में भी ऐसी कंपनियां काम कर रही हैं जो बायोलेदर तैयार कर रही हैं। बायो लेदर PU और PVC फ्री होता है, जिससे यह पारंपरिक सिंथेटिक लेदर से काफी अलग और बेहतर बनता है। इस लेदर से पर्यावरण को नुकसान नहीं होता और यह पूरी तरह इको-फ्रेंडली होता है। इसके फायदे ही फायदे हैं।

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