आलू की खेती कर रहे किसानों के लिए योगी सरकार का बड़ा धमाका, अब खुलेगा का बंद किस्मत का दरवाजा

आलू की खेती कर रहे किसानों के लिए योगी सरकार का बड़ा धमाका, आइए जानते है सरकार के इस प्लान के बारे में। सरकार आए दिन किसानों के हित में नए-नए फंडे अपनाते हैं उनके हित में कई योजनाएं चलते हैं साथ ही उनका फायदा हो उसके लिए कई तरह के प्लान बनाते रहते हैं ऐसा ही एक प्लान योगी सरकार की तरफ से आया है आइए हम आपको इसके बारे में विस्तार से बताते हैं।

योगी सरकार का प्लान

केंद्र सरकार द्वारा बतौर पायलट प्रोजेक्ट जिन भी सब्जियों को और फलों को समुद्र के रास्ते से निर्यात करने की प्लानिंग बनाई है। इन सब्जियों में आलू का नाम भी शामिल है। हालांकि यूपी देश का सबसे बड़ा आलू उत्पादन करने वाला राज्य है। यहां कन्नौज फर्रुखाबाद सहित बहुत सारे जिलों में आलू की दोहरी फसल उगाई जाती है। सरकार के इस प्रोजेक्ट का सबसे ज्यादा लाभ यूपी के आलू बोने वाले किसानों को मिलेगा।

केंद्र सरकार की सहायता और प्रदेश सरकार के इस बड़े कदम से आगरा में पेरू स्थित अंतरराष्ट्रीय आलू केंद्र खोला जा रहा है। इसमें लगभग 10 हेक्टेयर जमीन पर बनने वाले इस केंद्र को तैयार करने के लिए सरकार लगभग 120 करोड़ खर्च करेंगे। सीएम योगी आदित्यनाथ ने अपने मुख्यमंत्री पद के दूसरे कार्यकाल की शुरुआत में ही कृषि उत्पादन सेक्टर के प्रस्तुतीकरण के चलते आलू उगाने वाले किसानों के हित में बहुत सारी योजनाओं के बाबत निर्देश जारी किए गए है।

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इसी के अंतर्गत हापुड़ और कुशीनगर में सेक्टर आफ एक्सीलेंस फॉर पोटैटो खुलने भी शामिल है। इसके अलावा भंडारण क्षमता को बढ़ाने के लिए पारदर्शी तरीकों से कोल्ड स्टोरेज के निर्माण के लिए लाइसेंस निर्गत करवाना प्रसंस्करण के लिए मेगा फूड पार्क और क्लस्टर्स की स्थापना करना भी इसमें शामिल है जिस पर बहुत ही तेजी के साथ काम किया जा रहा है।

इन केंद्रों से होने वाले लाभ

  • इन केंद्रों को के खुलने से सर्वाधिक उत्पादक राज्य यूपी यूपी के किसानों को सबसे ज्यादा लाभ मिलेगा।
  • पड़ोस पड़ोस के राज्यों और दक्षिण एशिया के बाकी आलू उत्पादन करने वाले देशों को भी इसका फायदा मिलेगा।
  • सीपीआई आगरा की स्थापना करने से यूपी बिहार और पश्चिम बंगाल जैसे आलू बेल्ट राज्यों के साथ में दक्षिण एशिया के देशों को भी इस योजना का लाभ मिलेगा।
  • इन स्थापित केंद्रों से किसानों को अच्छी क्वालिटी का बीज प्राप्त होगा साथ ही इससे फसल के उत्पादन और सुधरी गुणवत्ता का लाभ किसानों कि आय को बढ़ाने में मदद करेगा।
  • केंद्र में आलू की ज्यादा उत्पादकता वाली और संस्करण योग्य किस्म का विकास भी होगा।
  • आलू की बीजों की कमी की पूर्ति हो जाएगी।
  • किसानों को आलू की नई तकनीकी से खेती करने का मौका प्राप्त होगा।

यूपी है आलू उत्पादन में सबसे आगे

आलू के उत्पादन करने में यूपी नंबर वन पर है। वैसे तो दूसरे नंबर पर आने वाले पश्चिम बंगाल प्रति हेक्टेयर उत्पादन में अग्रणी क्षेत्र है। पश्चिम बंगाल में प्रति हेक्टेयर उत्पादन लगभग 29.9 मिट्रिक टन होता है। उत्तर प्रदेश में प्रति हेक्टेयर उत्पादन 25.48 में मिट्रिक टन होता है। हालांकि आलू की खेती वैसे तो कई जगह पर होती है वह भी व्यापार की दृष्टि से जिसमें कई राज्य आते हैं जैसे कन्नौज, फर्रुखाबाद, आगरा, फिरोजाबाद, मथुरा, अलीगढ़, मेरठ, बुलंदशहर, बरेली, लखनऊ और बाराबंकी प्रमुख आलू उत्पादक जिलो में आते हैं।

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