UP के किसानों के लिए बड़ी खुशखबरी है। सरकार सस्ता बीज और फ्री मिनी किट का लाभ देने जा रही है, जो आने वाले समय में किसानों के खेती के खर्च को घटाने में मदद करेगा।
UP के किसानों को मिला तोहफा
उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए यह अच्छी खबर है। आपको बता दें कि रबी सीजन में किसानों को सस्ता बीज और फ्री मिनी किट जैसे कई फायदे मिलने जा रहे हैं। यह लाभ ई-लॉटरी प्रणाली के हिसाब से किसानों को मिलेगा, जिससे पारदर्शिता भी बनी रहेगी।उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही का कहना है कि किसानों को रबी सत्र में बीज बांटे जाएंगे, जिसमें क्षेत्र के अनुसार लक्ष्य का निर्धारण भी होगा। सरकार का उद्देश्य है कि इस साल 141 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में रबी फसलों की खेती कराई जाए। तो चलिए जानते हैं किस फसल के लिए कितना बीज मिलेगा।
10 लाख क्विंटल सस्ता बीज और 12.80 लाख फ्री मिनी किट
खेती में कई तरह के खर्च आते हैं, जिसमें अगर सरकार किसानों को सस्ते में, अनुदान पर या फ्री में बीज उपलब्ध करा देती है, तो यह किसानों के लिए बड़ी मदद होगी। आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश सरकार किसानों को 10 लाख क्विंटल गेहूं के बीज अनुदान पर देने जा रही है।
इसके अलावा गन्ना की खेती करने वाले किसान, गन्ने के साथ-साथ राई और सरसों की खेती भी कर सकते हैं। सरकार 7080 क्विंटल राई और 12,500 क्विंटल मसूर के बीज किसानों को निशुल्क देने का फैसला ले चुकी है।
रबी सीजन में अगर किसान गेहूं, सरसों और मसूर की खेती करेंगे, तो उन्हें बीज कम दाम में ही नहीं बल्कि मुफ्त में भी मिलेंगे। इतना ही नहीं, किसानों को 6.50 लाख दलहनी और तिलहनी फसलों के बीज के मिनी किट निशुल्क बांटे जाएंगे। इसके साथ ही भारत सरकार के सहयोग से 5.41 लाख दलहनी बीज के मिनी किट भी किसानों को फ्री में दिए जाएंगे। इस तरह सरकार की यह तैयारी किसानों के लिए रबी सीजन को बहुत ही खास बनाने वाली है।
बीज लेने के लिए कब करना होगा पंजीयन?
बीज पर अनुदान तथा फ्री बीज लेने के लिए किसानों को पंजीयन करना होगा। जैसा कि किसान भाई जानते हैं, उत्तर प्रदेश में इस समय तोरिया के बीज का मिनी किट बांटा जा रहा है, जिसके लिए 31 अगस्त 2025 तक पंजीयन होगा।
जब यह पंजीयन समाप्त हो जाएगा, तो फिर 1 सितंबर 2025 से अन्य फसलों के बीज के मिनी किट बांटने के लिए पंजीयन शुरू हो जाएगा। उसके बाद पीओएस मशीन बीज किसानों को मिलेगा।