आधुनिक तकनीकियों के इस्तेमाल से ज्यादा गुणवत्ता और जबरदस्त कमाई देगी यह फसल। पत्ता गोभी एक महत्वपूर्ण हरी सब्जी है, जिसे ठंडे और समशीतोष्ण जलवायु में उगाया जाता है। यह किसानों के लिए एक लाभदायक फसल साबित हो सकती है। आइए इसकी खेती के बारे में जानते है।
पत्ता गोभी की खेती के लिए जलवायु और भूमि
पत्ता गोभी ठंडे मौसम की फसल है। दोमट और बलुई दोमट मिट्टी जिसमें जैविक पदार्थ अधिक हो, इसके लिए सबसे उपयुक्त होती है। pH मान लगभग 6.0-6.5 के बीच होना चाहिए।
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पत्ता गोभी की खेती कैसे करें
पत्ता गोभी की खेती के लिए खेत को अच्छी तरह से जोतकर 2-3 बार हल चलाकर भुरभुरा बनाया जाता है। प्रति हेक्टेयर 15-20 टन गोबर की खाद डालें। पत्ता गोभी की खेती मैदानी इलाकों में अक्टूबर-नवंबर और पहाड़ी क्षेत्रों में मार्च-अप्रैल में करते है। बीजों को नर्सरी में तैयार किया जाता है और फिर मुख्य खेत में रोपा जाता है। बीज की बुवाई से 25-30 दिनों में पौधे खेत में लगाने योग्य हो जाते हैं।
पौधों की पंक्ति से पंक्ति की दूरी 45 सेमी और पौधे से पौधे की दूरी 30 सेमी रखें। पहली सिंचाई रोपाई के तुरंत बाद करें और फिर हर 7-10 दिन में सिंचाई करें। फसल में निराई-गुड़ाई करते रहें ताकि खरपतवार न पनपें। औसत उपज 250-400 क्विंटल प्रति हेक्टेयर होती है। पत्ता गोभी 60-120 दिनों में तैयार हो जाती है। जब गोभी का गठ्ठा कड़ा हो जाए, तब इसकी कटाई करें।
पत्ता गोभी से कमाई
पत्ता गोभी की मांग पूरे साल रहती है। पत्ता गोभी की फसल की कटाई के तुरंत बाद इसे बाजार में बेचना चाहिए। अच्छी गुणवत्ता और सही समय पर बिक्री से अधिक लाभ मिल सकता है। पत्ता गोभी लागत लगभग 40 से 80 हजार आती है वही कमाई की बात करे तो इससे कमाई लगभग 1 से 5 लाख तक हो जाती है।
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