बरसात में अगर ज्यादा मुनाफा देने वाली फसल लगाना चाहते हैं, जिससे लखपति बन सकें, तो चलिए एक ऐसी फसल के बारे में जानकारी देते हैं-
बरसात में यह फसल 1 लाख रु मुनाफा दे सकती है
बरसात के मौसम में कुछ ऐसी फसलें होती हैं, जिन्हें लगाकर अच्छा मुनाफा कमाया जा सकता है। अगर आपने अभी तक पेठा की खेती नहीं की है, तो अब भी इसके पौधों की रोपाई की जा सकती है। सफेद पेठा की मांग आगरा में मिठाई बनाने के लिए बहुत ज़्यादा होती है। इस पेठा की खेती से किसान एक एकड़ ज़मीन से ₹1,00,000 तक की शुद्ध कमाई कर सकते हैं, यानी खर्च निकालने के बाद की आमदनी। तो चलिए जानते हैं इसकी खेती के बारे में, कम शब्दों में ज़्यादा जानकारी।
पेठा की खेती के लिए मिट्टी और जलवायु
पेठा की खेती किसान बलुई दोमट मिट्टी में करेंगे तो बढ़िया उत्पादन मिलेगा। वहीं, जलवायु की बात करें तो 15 से 35 डिग्री सेल्सियस तक का तापमान इसके लिए उपयुक्त रहता है। अगर किसानों के क्षेत्र का मौसम गर्म रहता है, तो वहां इसकी खेती आसानी से की जा सकती है और अच्छा उत्पादन भी मिलता है।
कितना समय लगेगा और कितना मिलेगा उत्पादन?
अगर पेठा की खेती करते हैं, तो बता दें कि इसमें लगभग 140 दिन, यानी कि करीब 4 महीने का समय लगता है। उत्पादन की बात करें तो एक एकड़ खेत से 100 से 150 क्विंटल तक उत्पादन प्राप्त हो सकता है। जो कि खेती का तरीका और देखभाल पर निर्भर करता है।
पेठा की खेती का समय
- पेठा की खेती किसान भाई गर्मी और बरसात दोनों मौसम में कर सकते हैं।
- गर्मी में इसकी बुवाई फरवरी के अंत तक और मार्च के मध्य तक की जाती है।
- बरसात के मौसम में इसकी बुवाई जून से जुलाई के अंतिम सप्ताह तक होती है।
- अगस्त में भी कई किसान पेठा की खेती करते हैं।
- पहाड़ी इलाकों में इसकी बुवाई मार्च के बाद की जाती है।
पेठा की खेती में खर्च और कमाई
अगर किसान एक एकड़ में पेठा की खेती करते हैं, तो इसमें लगभग ₹20,000 से ₹30,000 तक का खर्च आता है। इसमें बीज, खाद, मजदूरी आदि सभी शामिल हैं। वहीं, कमाई की बात करें तो किसान ₹1 लाख से ₹2 लाख तक की कमाई कर सकते हैं, यह इस बात पर निर्भर करता है कि बाजार में किस रेट पर पेठा बिक रहा है।इस समय की बात करें तो मध्य प्रदेश में सफेद कद्दू (पेठा) ₹800 से ₹1,000 प्रति क्विंटल तक बिक रहा है।
अगर किसान को ₹900 प्रति क्विंटल की दर मिलती है, और उसका उत्पादन 150 क्विंटल होता है, तो कमाई ₹900 × 150 = ₹1,35,000 यानि सिर्फ 4 महीने में ₹1,35,000 की कमाई संभव है। लेकिन किसान को अपने क्षेत्र का हिसाब लगाना चाहिए। वहां क्या कीमत मिल रही है।