बैंगन की फसल को कीटों से मुक्त रखने के लिए कीट नियंत्रण के उपाय करना बेहद महत्वपूर्ण काम होता है जिससे बैंगन की उपज नुकसान होने से बच जाती है।
बैंगन में जिद्दी से जिद्दी कीड़ा होगा छूमंतर
बैंगन की खेती बरसात में मौसम में बहुत अच्छी मानी जाती है लेकिन बैंगन की फसल में फल छेदक और तना छेदक जैसे कई कीट का आतंक मचने लगता है जिससे बैंगन की फसल बर्बाद होने लगती है और जिससे किसानों का बहुत नुकसान होता है। इस नुकसान से बचने के लिए समय पर रोकथाम के उपाय करना चाहिए जिससे बैंगन की फसल सुरक्षित रहती है। बैंगन की डिमांड बाजार में बहुत ज्यादा मात्रा में होती है इसकी खेती से बहुत बंपर मुनाफा होता है। इसलिए अच्छे उत्पादन के लिए इसकी फसल की देखरेख अच्छे से करना चाहिए।

ये चीज बैंगन के पौधों के लिए बनेगी वरदान
बैंगन की फसल को कीटों से सुरक्षित रखने के लिए रासायनिक और जैविक दोनों तरह के उपाय प्रभावी और असरदार साबित होते है अगर आप जैविक उपाय करना चाहते है तो आप नीम के तेल का उपयोग कर सकते है ये एक उत्कृष्ट प्राकतिक और जैविक कीटनाशक का काम करता है नीम का तेल जैविक खेती के लिए एक सुरक्षित और पर्यावरण के अनुकूल विकल्प है। ये फल छेदक, तना छेदक, चूसने वाले कीटों और एफिड्स जैसे कई कीटों को नियंत्रित करता है। इसमें मौजूद तत्व बैंगन की फसल के लिए फायदेमंद होते है इसके अलावा आप रासायनिक केमिकल वाले कीटनाशक का उपयोग करना चाहते है तो आप एडमायर कीटनाशक का इस्तेमाल कर सकते है ये बैंगन की फसल को तत्काल कई कीटों से मुक्त करता है जिससे फसल का नुकसान होने से तुरंत बच जाती है।
बैंगन की फसल में नीम के तेल के फायदे
बैंगन की फसल में नीम के तेल का उपयोग बहुत लाभदायक माना जाता है इसका उपयोग करने के लिए 5ml नीम के तेल को प्रति लीटर पानी में घोल बनाकर बैंगन के पौधों में छिड़काव कर सकते है। इसका छिड़काव सुबह या शाम के समय में करना है। ऐसा करने से फसल में लगे कीट मर जायेंगे। इसका उपयोग जब तक कीट खत्म नहीं हो जाते है तब तक एक-एक दिन छोड़ कर सकते है। अगर आप एडमायर कीटनाशक का इस्तेमाल करना चाहते है तो 2 ग्राम प्रति 15 लीटर पंप में घोलकर छिड़काव कर सकते है।
नोट: इस रिपोर्ट में दी गई जानकारी किसानों के निजी अनुभवों और सार्वजनिक रूप से उपलब्ध इंटरनेट स्रोतों पर आधारित है। किसी भी जानकारी का उपयोग करने से पहले कृषि विशेषज्ञों से परामर्श अवश्य करें।