गेंहू बुवाई में हो गई देर ? तो चिंता न करें, इन पछेती किस्मों की बुवाई से मिलेगी तगड़ी पैदावार, पूसा से जाने गेंहू की पछेती किस्म

On: Thursday, December 5, 2024 11:04 AM
गेंहू की पछेती किस्म

गेंहू की खेती अभी भी किसान कर सकते है। इस लेख में पूसा द्वारा जाती एडवाजरी के अनुसार कुछ पछेती किस्मों की जानकारी दी गई है।

गेंहू बुवाई में हो गई देर ?

गेहूं की कई किसानों ने अगेती खेती कर ली है। लेकिन वह किसान जिन्हे कुछ कारणों की वजह से बुवाई करने में देरी हो गई है उन्हें अब चिंता करने की जरूरत नहीं है। आपको बता दे की पूसा ने एडवाइजरी जारी की है जिसमें गेहूं के पछेती किस्म की जानकारी दी है। जिससे किसानों को अच्छा उत्पादन मिल सकता है तो अगर आप गेहूं की खेती करने के लिए इच्छुक है लेकिन देरी के कारण नहीं कर पाए हैं तो पछेती किस्म की बुवाई कर सकते हैं। तो चलिए आपको इस लेख में पछेती किस्म के बारे में बताया जाएगा। साथ ही पैदावार अधिक लेने के लिए क्या करना है यह भी बताया जाएगा।

गेंहू की पछेती किस्म

वह किसान जो देरी से गेहूं की खेती करने जा रहे हैं यानी की पछेती की बुवाई करने जा रहे हैं उन्हें कई चीजों का ध्यान रखना चाहिए। जैसे की उन्नत बीजों का चुनाव करना चाहिए, बुवाई के लिए अगर मशीनों का इस्तेमाल कर पाए तो बेहतर होगा। खाद इस्तेमाल भी करना चाहिए और सिंचाई के समय का भी ध्यान रखना चाहिए। जिसमें पूसा द्वारा सलाह में किन पछेती किस्मों की जानकारी मिली उसे नीचे लिखे बिंदुओं के अनुसार जाने-

  • एच. डी. 3237
  • एच. डी. 3059
  • एच. डी. 3271
  • एच. डी. 3117
  • एच. डी. 3369
  • पी.बी.डब्ल्यू. 373
  • डब्ल्यू. आर. 544 .

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पैदावार बढ़ाने के लिए बुवाई से पहले करें ये काम

फसल में अगर रोग बीमारी कम आती है, अंकुरण ज्यादा मात्रा में होता है, कीट नहीं लगते हैं, पोषक तत्व बीजों में होते हैं, फफूंद नहीं लगते हैं तो पैदावार ज्यादा होती है। जिससे किसानों को ज्यादा कमाई होती है और इसके लिए बीज उपचार करना होगा। जी हां बीज उपचार करने से अंकुरण ज्यादा होता है। फसल में कीट बीमारी नहीं लगती है, पोषक तत्व अधिक मिलते हैं। जिसमें एक हेक्टेयर में खेती करने पर बीज दर 125 किलो लग सकता है। बीज उपचार करने के लिए बाविस्टिन @ 1.0 ग्राम या थायरम @ 2.0 ग्राम एक किलो बीज की दर से लेकर करें।

वही जिनके खेतों में दीमक लगती है तो पैदावार घट जाती है। जिसके लिए वह क्लोरपाईरिफास (20 ईसी) @ 5.0 लीटर एक हैक्टर की दर से पलेवा के साथ या सूखे खेत में छिड़कना है। इसके आलावा खाद और पानी के सही समय का ध्यान रखे।

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