पशुपालन जल्द ही अपने पशुओं का बीमा फ्री में करवा सकते हैं, जिससे उनकी मृत्यु पर आर्थिक नुकसान नहीं होगा, आइए आपको बताते हैं योजना के बारे में-
पशुपालन में पशुओं की मृत्यु पर नुकसान
पशुपालन करके अच्छी खासी कमाई की जा सकती है, पशुपालन में मुख्य रूप से गाय, भैंस, बकरी, भेड़, ऊंट पाले जाते हैं, जिसमें अगर पशुओं की मृत्यु हो जाती है तो पशुपालक को काफी नुकसान होता है, लेकिन अब उन्हें इस नुकसान की चिंता करने की जरूरत नहीं है, अगर वे इस योजना का लाभ लेते हैं तो उन्हें ऐसी स्थिति में 40000 रुपये तक की आर्थिक सहायता दी जाएगी, तो आइए आपको राज्य सरकार की उस योजना के बारे में बताते हैं जिसमें पशुओं का फ्री में बीमा किया जाता है।
मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना
मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना राजस्थान राज्य सरकार की एक योजना है, इस योजना के तहत पशुओं का फ्री में बीमा किया जाता है, जिसमें राज्य के पशुपालन एवं डेयरी मंत्री जोराराम कुमावत ने योजना की समीक्षा बैठक की और बताया कि 2024-25 तक 42 लाख पशुओं का निःशुल्क बीमा किया जाएगा जिसमें गाय, भैंस, भेड़, बकरी और ऊंट का जोखिम कवर किया जाएगा, इस तरह राजस्थान के पशुपालकों को सरकार की ओर से बड़ी आर्थिक मदद मिलेगी, जिससे किसी भी प्रकार की मानसिक चिंता नहीं रहेगी। जल्द ही आवेदन लिए जाएंगे।

मुख्यमंत्री मंगल पशु बीमा योजना का लाभ लेने के लिए पशुपालकों को रजिस्ट्रेशन कराना होगा, रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया जल्द ही शुरू की जाएगी और मंत्री का कहना है कि पिछली बार की तुलना में इस बार रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया में तेजी लाई जाएगी ताकि ज्यादा से ज्यादा पशुपालकों को इसका लाभ मिल सके। बताया गया कि 2024-25 में 16 लाख 62000 ऑनलाइन आवेदन प्राप्त हुए, जिनमें से 976000 स्वास्थ्य कार्ड जारी किए जा चुके हैं और राज्य बीमा एवं उपार्जन निधि विभाग द्वारा बीमा पॉलिसी भी जारी की जा चुकी है, जिनका बचा है उनका काम भी जल्द ही हो जाएगा।
रजिस्ट्रेशन के लिए ऑनलाइन आवेदन जून 2025 में ही शुरू हो जाएंगे, इसके लिए आप हमारे साथ जुड़े रहें, रजिस्ट्रेशन शुरू होते ही हम आपको जानकारी देंगे, आइए जानते हैं पात्रता के बारे में।
किसे मिलता है योजना का लाभ
मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना का लाभ राज्य के पशुपालक उठा सकते हैं। इस योजना के तहत जन आधार धारक पशुपालकों को पात्र माना जाता है। गोपालक क्रेडिट कार्ड और लखपति दीदी वाले पशुपालकों को प्राथमिकता मिलती है। अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति को भी 16 और 12% का आरक्षण मिलता है, जिससे उन्हें सरकार से बड़ी आर्थिक मदद मिलती है। इस योजना के तहत ₹40000 तक के बीमा का लाभ मिलता है। इस योजना के जरिए पशुपालन में होने वाले जोखिम को खत्म किया जा सकता है।