MP के किसानों के खाते में 1 लाख रु आएंगे, राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन योजना का उठाएं फायदा, जानें आवेदन की अंतिम तिथि

On: Friday, September 12, 2025 11:26 AM
राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन

राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन योजना के तहत किसानों को 1 लाख रु तक की आर्थिक मदद दी जा रही है। तो चलिए, आपको बताते हैं कि यह योजना क्या है।

राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन

राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन के तहत जैविक खेती को प्रोत्साहित किया जा रहा है। इसके लिए सरकार पूरी तरह से मदद दे रही है, जिससे खेती का खर्चा घटेगा। बताया जा रहा है कि इस योजना के अंतर्गत मध्य प्रदेश के विभिन्न जिलों में लक्ष्य निर्धारित किए गए हैं, जिनके तहत क्लस्टर बनाये जाएंगे। उनके अंतर्गत बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर / BRC की स्थापना की जाएगी, जहाँ प्राकृतिक खेती के लिए जैविक आदान तैयार किए जाएंगे।

जैव आदान के अंतर्गत जैविक खाद, कीटनाशक आदि चीजें किसानों के लिए तैयार की जाएंगी। इन्हें तैयार करने के लिए गोमूत्र, गोबर और पौधों पर आधारित बायोमास की आवश्यकता होगी। इसके लिए किसान अपने पास की गौशाला से संपर्क कर सकते हैं। BRC के भीतर जो उत्पाद तैयार किए जाएंगे, उसकी उचित कीमत मिलेगी, और इसे एक उद्यम के रूप में विकसित करने का लक्ष्य रखा गया है, जिससे किसानों को सीधा लाभ मिलेगा।

₹1,00,000 तक मिलेगी आर्थिक मदद

किसानों के आर्थिक बोझ को कम करने के लिए सरकार वित्तीय सहायता प्रदान कर रही है। BRC की स्थापना और उसके संचालन के लिए किसानों को ₹1,00,000 तक की आर्थिक मदद दी जा रही है, जो दो किस्तों में (₹50,000 + ₹50,000) मिलेगी।

कौन कर सकता है आवेदन और कैसे?

अगर BRC (बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर) खोलने की इच्छा रखते हैं, तो बता दें कि इसके लिए सरकार से ₹1,00,000 तक की वित्तीय सहायता मिल रही है। इसके लिए किसान को 20 सितंबर 2025 से पहले आवेदन करना होगा। इस योजना का लाभ किसानों और एन.जी.ओ., एफ.पी.ओ., पंजीकृत संस्थाएं, और पंजीकृत गौशाला खोलने वाले उठा सकते है। साथ ही बता दे जिनके पास प्राकृतिक खेती का तजुर्बा है या कोई अच्छा प्लान है तो वो आवेदन कर सकते है।

आवेदन का प्रारूप जिले के विकासखंड तकनीकी प्रबंधक से प्राप्त किया जा सकता है, जिसे भरकर संबंधित कार्यालय में जमा करना होगा। जांच के बाद योजना का लाभ पात्र किसान को दिया जाएगा।

बताया जा रहा है कि MP के उज्जैन जिले में 25 BRC (बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर) खोलने का लक्ष्य रखा गया है। इनमें से लगभग 18 केंद्रों की स्थापना विभिन्न विकासखंडों में की जाएगी।

तो यदि एक योग्य किसान हैं, तो अपने जिले के विकासखंड कार्यालय में जाकर इस योजना की पूरी जानकारी लें और समय रहते आवेदन करें।

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