अगस्त में कौन-कौन सी सब्जियां लगाने से अधिक उत्पादन और बेहतर कीमत मिलती है, इसके बारे में जानेंगे। इसमें हम खर्च और मुनाफे की पूरी जानकारी देंगे-
अगस्त में इन 5 सब्जियों की खेती कर सकते हैं
बरसात का मौसम चल रहा है और अगस्त का महीना शुरू हो चुका है। इस समय कई प्रकार की सब्जियों की खेती की जा सकती है। यहां हम आपको उन सब्जियों की जानकारी दे रहे हैं जिनमें भिंडी, तुरई, करेला, पालक और शिमला मिर्च शामिल हैं।
भिंडी की खेती
भिंडी की फसल 45 से 50 दिनों में तैयार हो जाती है। इसमें 80 से 100 क्विंटल तक उत्पादन मिल सकता है। भाव की बात करें तो ₹15 से लेकर ₹30 प्रति किलो तक मिल सकता है। वर्तमान में उत्तर प्रदेश की मंडियों में ₹3600 प्रति क्विंटल का भाव चल रहा है।
करेला की खेती
करेला 50 से 58 दिनों में तैयार हो जाता है। इसमें एक एकड़ से 80 से 120 क्विंटल तक उत्पादन मिल सकता है, जिससे ₹1,00,000 तक की कमाई हो सकती है।
तुरई की खेती
तुरई की खेती अगस्त में की जा सकती है। इसमें 80 से 100 क्विंटल तक उत्पादन मिलता है। इसका भाव ₹10 से ₹25 प्रति किलो तक रहता है। कमाई ₹80,000 से ₹1,00,000 तक हो सकती है। अगर बाजार में मांग अधिक हो तो इससे ज्यादा भी कमा सकते हैं।
पालक, मेथी और धनिया की खेती
पालक के साथ-साथ मेथी और धनिया की खेती भी की जा सकती है। यह फसलें 25 से 30 दिनों में यानी एक महीने में तैयार हो जाती हैं और जल्दी मुनाफा देना शुरू कर देती हैं।
इस विधि से करेंगे खेती तो मिलेगा बंपर उत्पादन
अगर आप इन सब्जियों की खेती से अच्छा मुनाफा लेना चाहते हैं तो उनकी गुणवत्ता बेहतर होनी चाहिए। इसके लिए निम्न उपाय करें:
- ड्रिप सिस्टम से सिंचाई करें
- जैविक खाद का उपयोग करें
- मल्चिंग का प्रयोग करें
- पॉलीहाउस में खेती करें (हालांकि यह थोड़ा महंगा होता है, लेकिन सरकार की सब्सिडी का लाभ लेकर लागत कम कर सकते हैं)
- स्थानीय मंडियों और सीधे उपभोक्ताओं को बेचने का प्रयास करें, ताकि बेहतर दाम मिल सके।
लागत के बारे में जानिए
सब्जियों की खेती में खेत की तैयारी से लेकर बीज, खाद, सिंचाई, कीटनाशक और मजदूरी आदि कई प्रकार के खर्चे आते हैं। जिनमें-
- बीज लागत: ₹8000 से ₹10,000 (अगर उच्च गुणवत्ता वाले बीज लेते हैं)
- खाद और कीटनाशक: ₹12,000 से ₹15,000
- सिंचाई और मजदूरी: ₹20,000 से ₹25,000
- कुल अनुमानित खर्च: ₹45,000 से ₹50,000 तक हो सकता है।
एक एकड़ से कुल कमाई ₹1,50,000 से ₹2,00,000 तक हो सकती है। पालक, मेथी और धनिया की खेती बहुत कम लागत में की जा सकती है। भिंडी और तुरई की खेती भी कम खर्चे वाली होती है। तुरई की खेती में ₹10,000 से ₹12,000 तक की लागत आती है। हालांकि शिमला मिर्च की खेती में लागत अधिक आ सकती है, लेकिन मुनाफा भी अधिक होता है।
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