पशुपालकों के लिए एक जरूरी खबर है। राज्य सरकार द्वारा सख्त निर्देश जारी किए गए हैं। अगर इन नियमों का पालन नहीं किया गया, तो सजा और जुर्माने का सामना करना पड़ सकता है-
पशुपालकों के लिए बड़ी खबर
नमस्कार! पशुपालन से जुड़े लोगों के लिए यह एक अहम जानकारी है, जो मवेशियों को लेकर जारी की गई है। अगर पशुपालक हैं, तो आपको यह जरूर जानना चाहिए कि अब मवेशियों को खुला छोड़ना पूरी तरह से मना किया जा रहा है। राज्य सरकार ने यह सूचना दी है कि अगर सड़कों पर या खुले में पशु घूमते हुए पाए गए, तो पशुपालक के खिलाफ कार्यवाही की जाएगी।
पशुओं को बांधकर रखना अब जरूरी हो गया है। इस नियम का उल्लंघन करने पर कठोर सजा और जुर्माना भरना पड़ सकता है। आइए जानते हैं कि यह आदेश किस राज्य सरकार ने जारी किए हैं।
प्रशासन द्वारा जारी हुए सख्त आदेश
यह आदेश छत्तीसगढ़ राज्य सरकार द्वारा जारी किए गए हैं। छत्तीसगढ़ प्रशासन ने पशुओं को बांधकर रखने के सख्त निर्देश दिए हैं। जिसमें बिलासपुर जिले में, सभी अनुभागीय दंडाधिकारियों ने देश की नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 को लागू कर दिया है। इसके तहत पशुपालकों को अपने पशु बांधकर रखने अनिवार्य हैं। अब जानते हैं कि इसका कारण क्या है।
पशुओं को बांधने की जरूरत क्यों पड़ी?
असल में, जब मवेशी खुले में घूमते हैं, तो इससे कई प्रकार की समस्याएं और दुर्घटनाएं हो सकती हैं। अगर राष्ट्रीय राजमार्ग, राज्य मार्ग या स्थानीय सड़कों पर गाय-भैंस जैसे मवेशी घूमते हैं, तो वाहन दुर्घटनाओं का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा, एम्बुलेंस और फायर ब्रिगेड जैसी आपातकालीन सेवाएं, जो तेज गति से चलती हैं, उनके रास्ते में भी रुकावट आती है।
अगर सड़क पर मवेशी आ जाते हैं या उनका झुंड इकट्ठा हो जाता है, तो ये सेवाएं समय पर नहीं पहुंच पातीं। इसीलिए यह नियम लागू किया गया है कि पशुओं को बांधकर रखा जाए और सड़क पर घूमता हुआ कोई मवेशी न दिखे।
पशु घूमते मिले तो मिलेगी यह सजा
अगर मवेशी खुले में घूमते हुए पाए जाते हैं, तो पशुपालकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। आपको बता दें कि पशु क्रूरता अधिनियम 1960 के अध्याय 3 की धारा 111 के तहत तथा भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 291 के अंतर्गत ऐसे मामलों में कार्यवाही की जा सकती है। ऐसे में पशुपालकों को आरोपी माना जाएगा और उन्हें सजा व जुर्माना भुगतना पड़ सकता है।
इसके अलावा, मवेशियों को खुला छोड़ने से उनकी जान को भी खतरा हो सकता है। बरसात के मौसम में वे रास्ता भटक जाते हैं, कभी-कभी पेड़ गिरने या बिजली के तार टूटकर गिरने से उन्हें करंट लगने जैसी घटनाएं भी हो जाती हैं। इससे पशुपालकों को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है, जिसमें जान-माल की हानि भी शामिल है।

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