सोयाबीन की ये किस्म बंपर उपज देने के लिए किसानों के बीच काफी लोकप्रिय है इसकी खेती में ज्यादा मेहनत और दिन नहीं लगते है तो चलिए जानते है कौन सी किस्म है।
जुलाई में करें सोयाबीन की ये किस्म की बुआई
सोयाबीन की खेती में अच्छी उपज पाने के लिए उन्नत और उच्च गुणवत्ता वाली रोग प्रतिरोधक किस्म का चुनाव करना बहुत लाभकारी साबित होता है आज हम आपको सोयाबीन की एक ऐसी किस्म के बारे में बता रहे है जो महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश के किसानों के बीच बहुत लोकप्रिय है क्योंकि ये किस्म अच्छी उपज देती है इसकी डिमांड बाजार में बहुत होती है। ये किस्म कई आम सोयाबीन रोगों के प्रति प्रतिरोधी होती है आप इसकी खेती से बहुत अच्छी कमाई कर सकते है हम बात कर रहे है सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती की ये जिसे KDS 726 के नाम से भी जाना जाता है ये सोयाबीन की एक उच्च उपज देने वाली किस्म है। तो चलिए इसकी खेती के बारे में विस्तार से जानते है।

कैसे करें खेती
अगर आप सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती करना चाहते है तो आपको इसकी खेती के बारे में विस्तार से जानना होगा जिससे आपको खेती करने में को परेशानी नहीं होगी और उपज अच्छी मिलेगी। सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती के लिए जल निकासी वाली उपजाऊ दोमट मिट्टी सबसे उपयुक्त है। मिट्टी का पीएच मान 6.0 से 7.5 के बीच होना चाहिए। इसकी बुवाई से पहले खेत गहरी जुताई करनी चाहिए और मिट्टी में गोबर की खाद डालनी चाहिए बुआई के लिए प्रति एकड़ 25 से 30 किलो बीज की आवश्यकता होती है इसकी खेती में पंक्ति से पंक्ति की दूरी 45 सेमी और पौधे से पौधे की दूरी 10 सेमी रखनी चाहिए। बुआई के बाद सोयाबीन की फुले संगम किस्म की फसल करीब 90-95 दिन में तैयार हो जाती है।
कितनी होगी उपज
अगर आप सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती करते है तो आपको इसकी खेती से बहुत जबरदस्त उपज देखने को मिलेगी एक एकड़ में सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती करने से करीब 18 से 20 क्विंटल तक पैदावार मिलती है आप इसकी खेती से लाखों रूपए की कमाई कर सकते है सोयाबीन की फुले संगम किस्म की खेती किसानों के लिए बहुत लाभकारी साबित होती है।