अदरक की खेती के लिए इस किस्म का चयन करना बहुत फायदेमंद साबित होता है इसकी खेती में रोग कीट का प्रकोप कम होता है तो चलिए जानते है कौन सी किस्म है।
फायदे का सौदा है अदरक की ये किस्म की खेती
अदरक की खेती के लिए उन्नत किस्म का चयन करना बहुत जरुरी काम होता है आज हम आपको अदरक की एक ऐसी किस्म के बारे में बता रहे है जो प्रकंद विगलन रोग के प्रति सहनशील होती है इसकी खेती से न सिर्फ ज्यादा पैदावार मिलती है बल्कि ये मार्केट में बहुत डिमांडिंग भी होती है। इसमें तेल की मात्रा 1.20% होती है और सड़न रोग कम होता है हम बात कर रहे है अदरक की हिमगिरी किस्म की खेती की ये अदरक की एक उन्नत किस्म है जो अधिक पैदावार देने के लिए जानी जाती है। तो चलिए इसकी खेती के बारे में विस्तार से जानते है।

कैसे करें खेती
अगर आप अदरक की हिमगिरी किस्म की खेती करना चाहते है तो आपको इसकी खेती के बारे में अच्छे से समझना होगा जिससे खेती करने में कोई परेशानी नहीं होगी। अदरक की हिमगिरी किस्म की खेती के लिए 25 से 35 डिग्री सेल्सियस का तापमान अच्छा माना जाता है। इसकी बुवाई से पहले खेत की गहरी 3 से 4 बार जुताई करनी चाहिए और मिट्टी में पोषक तत्व से भरपूर खाद डालनी चाहिए। इसकी खेती में बुवाई के लिए ताजा और स्वस्थ गांठों का उपयोग करना चाहिए। बुवाई के लिए कंदों को 15-20 सेमी की दूरी पर और पंक्तियों के बीच 30 सेमी की दूरी पर लगाना चाहिए। बुवाई के बाद अदरक की हिमगिरी किस्म की फसल करीब 8 से 9 महीने में तैयार हो जाती है।
कितनी होगी उपज
अगर आप अदरक की हिमगिरी किस्म की खेती करते है तो आपको इसकी खेती से बहुत जबरदस्त पैदावार देखने को मिलेगी। एक हेक्टेयर में अदरक की हिमगिरी किस्म की खेती करने से करीब 120-125 क्विंटल की पैदावार हो सकती है आप इसकी खेती से लाखों रूपए का मुनाफा कमा सकते है ये अदरक की एक उच्च पैदावार देने वाली किस्म है इसलिए इसकी खेती जरूर करनी चाहिए।