अगर किसान खरपतवार की समस्या से परेशान हैं तो आइए इस लेख में बताते हैं कि चीनी का कटोरा कही जाने वाली जगह पर कौन सी मशीन कर रही है खरपतवार का नाश-
खरपतवार की समस्या
अच्छी फसल लेने के लिए किसानों को समय-समय पर खेत की निराई-गुड़ाई करनी पड़ती है और खरपतवार को निकालना पड़ता है, नहीं तो खरपतवार मुख्य फसल की खाद और पानी लेने लगते हैं, जिससे पैदावार कम हो जाती है। इसके अलावा कीट व्याधि की भी काफी समस्या होती है, इसीलिए खरपतवार को हटाया जाता है। लेकिन मजदूरों को काम पर रखने का खर्च ज्यादा होता है, लेकिन अगर आप कृषि यंत्रों की मदद लेंगे तो काम जल्दी और कम खर्च में हो जाएगा।
जिसमें गन्ने की खेती करने वाले लखीमपुर खीरी के किसान एक बेहतरीन खरपतवार नाशक मशीन का इस्तेमाल कर रहे हैं, तो आइए आपको इस मशीन के बारे में बताते हैं।
खरपतवार हटाने वाली मशीन
गन्ने की खेती करने वाले किसान समय-समय पर खरपतवार भी हटाते हैं, जिसके लिए वे सुगरकेन वीडर मशीन का इस्तेमाल कर रहे हैं, यह मशीन गन्ने को हटाने के लिए इस्तेमाल की जाती है। यह फसल के बीच में मौजूद खरपतवार को हटाती है। दरअसल, मशीन ट्रैक्टर की मदद से चलती है और इसमें ब्लेड लगे होते हैं जो खरपतवार के बीच में घूमते हैं और खरपतवार को हटाते हैं। इससे मिट्टी में सुधार होता है और काम जल्दी होता है।

उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी को चीनी का कटोरा भी कहा जाता है क्योंकि यहां बड़ी मात्रा में गन्ने की खेती होती है और गन्ने से चीनी बनाई जाती है।
सुगरकेन वीडर पर सब्सिडी
अगर किसान सुगरकेन वीडर खरीदते हैं तो खेती में मजदूरों की लागत कम हो जाती है। इसके अलावा वे दूसरे किसानों की मदद करके भी कमाई कर सकते हैं। किसानों के लिए गन्ने की कीमत बहुत अहम हो जाती है। इसीलिए सरकार इस पर 50% की सब्सिडी दे रही है, यानी किसानों को सिर्फ अधिक कीमत ही चुकानी होगी, आधी लागत सरकार वहन करेगी, जिसके लिए किसान कृषि वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं और इस योजना का लाभ उठा सकते हैं।
अगर किसानों को यह पसंद है तो मैं आपको बता दूं कि गन्ना वीडर की कीमत मॉडल, फीचर्स और विक्रेता के आधार पर अलग-अलग होती है। जिसमें एक शुगरकेन वीडर की कीमत ₹36,000 से लेकर ₹1,40,000 के बीच हो सकती है। किसान अपने जरुरत के अनुसार खरीद सकते है।